आन्दोलनरत् किसानों और सरकार के बीच आज चंडीगढ़ में न्यूनतम समर्थन मूल्य सहित अन्य मांगों पर चौथे दौर की वार्ता हुई। जिसमें किसान नेताओं ने अपनी मांगों से सरकार को अवगत कराया, वहीं सरकार ने एमएसपी पर कुछ प्रस्ताव किसानों के सामने रखा है।
आंदोलन कर रहे किसान किसानों की मुख्य मांगें:-
*सभी फसलों की खरीद के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य गारंटी कानून बनाया जाए।
*डॉ. स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट के हिसाब से फसलों की
कीमत तय की जाए।
*सभी फसलों के उत्पादन की औसत लागत से पचास
फीसदी ज्यादा एमएसपी मिले।
*किसान और खेत में काम करने वाले मजदूरों का कर्जा माफ
किया जाए।
* किसानों को प्रदूषण कानून से बाहर रखा जाए।
*60 साल से ज्यादा उम्र के किसानों को दस हजार रुपये पेंशन दी जाए।
*भूमि अधिग्रहण अधिनियम 2013 दोबारा लागू किया जाए।
लखीमपुर खीरी कांड के दोषियों को सजा दी जाए।
आरोपियों की जमानत रद्द की जाए।
*मुक्त व्यापार समझौतों पर रोक लगाई जाए।
*विद्युत संशोधन विधेयक 2020 को रद्द किया जाए।
*मनरेगा में हर साल दो सौ दिन का काम और सात सौ रुपये
मजदूरी दी जाए।
*किसान आंदोलन में मृत किसानों के परिवारों को मुआवजा
और सरकारी नौकरी दी जाए। समझौते के अनुसार, घायलों
को 10 लाख रुपये का मुआवजा दिया जाए।
* दिल्ली मोर्चा सहित देशभर में सभी आंदोलनों के दौरान दर्ज
सभी मुकदमे रद्द किए जाएं।
*नकली बीज, कीटनाशक दवाइयां और खाद वाली कंपनियों
पर कड़ा कानून बनाया जाए।
* फसल बीमा सरकार खुद करे। मिर्च, हल्दी और अन्य
मसालों के लिए राष्ट्रीय आयोग का गठन किया जाए।
*संविधान की 5वीं सूची को लागू कर आदिवासियों की जमीन
की लूट बंद की जाए।
Farmers protest MSP.