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महिला पत्रकार सौम्या विश्वनाथन की हत्या के आरोपी दोषी करार:26 अक्टूबर को सभी दोषियों की सजा पर बहस।

दिल्ली, 15 साल पहले हुए महिला पत्रकार सौम्या विश्वनाथन की हत्या के मामले में दिल्ली की साकेत कोर्ट ने सभी 5 आरोपियों को दोषी करार दिया है। इनमें से चार को हत्या और मकोका जबकि एक को मकोका के तहत दोषी करार दिया गया।

26 अक्टूबर को सभी दोषियों की सजा पर बहस होगी। 15 साल पहले 30 सितंबर, 2008 को सौम्या अपनी कार में मृत पाई गई थीं। 26 अक्टूबर को सभी दोषियों की सजा पर बहस होगी।

पुलिस में दर्ज रिपोर्ट के मुताबिक 15 साल पहले 30 सितंबर 2008 को सौम्या विश्वनाथन उम्र 25 रात 3 बजे विडियोकॉन टावर अपने ऑफिस से वसंत कुंज के लिए अपने घर के लिए निजी कार से रवाना हुई थीं। सौम्या खुद कार ड्राइव कर रही थीं। वसंत विहार के नजदीक आरोपी रवि कपूर, अमित शुक्ला, बलजीत मलिक और अजय भैंगा भी अपनी कार से कहीं जा रहे थे।आरोपियों ने उनके पीछे अपनी कार लगा दी। आरोपियों ने कई बार सौम्या को ओवरटेक कर रोकने की कोशिश की, लेकिन नाकाम रहे । तो गुस्से में आकर रवि ने अपनी पिस्तौल से सौम्या को निशाना बनाते हुए फायर कर दिया। गोली कार का शीशा तोड़कर सौम्या के सिर में जा लगी। इसके बाद आरोपी फरार हो गए।

सौम्या काफी देर तक घर नहीं पहुंची, तो उसके पिता एमके विश्वनाथन उसे लगातार फोन करने लगे। सुबह 4 बजे एक पुलिस वाले फोन उठाया। सौम्या को गोली लगने के बाद उनकी कार बेकाबू होकर डिवाइडर और पोल से जा टकराई। शुरुआती जांच में पुलिस को यह एक्सिडेंट का केस लगा। लेकिन पोस्टमॉर्टम की रिपोर्ट में सौम्या की मौत का कारण सिर में गोली लगना बताया गया। 30 सितंबर 2008 को वसंत कुंज थाने में एफआईआर नंबर 481 दर्ज हुआ।

पुलिस छह महीने तक इस वारदात का खुलासा नहीं कर खुल सकी। 17 मार्च 2009 को वसंत विहार से कॉलसेंटर की इग्जेक्युटिव जिगिषा घोष का अपहरण और मर्डर हो गया।जिगिषा घोष का मर्डर सौम्या के मर्डर की तर्ज पर ही किया गया। सौम्या की तरह वह भी रात में ऑफिस से अपने घर वापस आ रही थीं। रास्ते में जिगिषा का मर्डर कर दिया गया। कुछ दिनों के बाद जिगिषा का डेबिट कार्ड इस्तेमाल करने के दौरान महिपालपुर में स्टेट बैंक ऑफ पटियाला के एटीएम बूथ के सीसीटीवी से एक मुलजिम बलजीत मलिक की फोटो पुलिस को मिल गई। बलजीत के बयान के बाद रवि कपूर को भी गिरफ्तार किया गया।पूछताछ के दौरान इन मुलजिमों से पुलिस को जानकारी मिली कि इन्होंने ही छह महीने पहले सौम्या का मर्डर किया था। सभी को गिरफ्तार कर उन पर मकोका लगा दिया गया।

अप्रैल 2009 में दिल्ली पुलिस ने सौम्या हत्याकांड में रवि कपूर गैंग के खिलाफ मकोका लगाया था। 6 फरवरी 2010 को रवि कपूर, बलजीत सिंह, अमित शुक्ला, अजय कुमार और अजय सेठी के खिलाफ मकोका, हत्या, डकैती और अन्य अपराधों के तहत आरोप तय किए गए।

 

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